आँखें खोल
*आँखें खोल प्राणी !!!*
🕉🚩🕉🚩🕉🚩
संपूर्ण ब्रम्हांड,
सभी देवीदेवता,
साक्षात स्वर्ग भी...
हमारे अंदर ही
समाया है...!
सो अहम् ...सो अहम्...
अहम् ब्रम्हास्मी...
चर्मचक्षु नही बल्कि
ज्ञानचक्षु खोलेंगे तो...
सभी रहस्य खुल जायेंगे...!
अंतरात्मा में बसा है
मेरा सुंदर सुंदर राम...
रोम रोम में बसा है
मेरा प्यारा प्यारा शाम...
यही है हमारा आत्माराम
आँखें खोल प्राणी !!!
आँखें खोल....!
हरी ओम्
🕉🚩🕉🚩🕉🚩
*विनोदकुमार महाजन*
Comments
Post a Comment