मोदिजी को पत्र ( ४२ )

 झूठे लोग

झूठी बाणी
झूठी जबानी
फरेबीयों की है
नितनई कहाणी

खुद महाभयंकर पाप
करता है कजरूद्दीन
और दोषी ठहराता है
पुण्यात्माओं को

कमाल की दुनिया
पापात्माओं की है
नितनई कहानियां

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