भाजप की रणनीती

 एकनाथ शिंदे जी को महाराष्ट्र का मुख्यमंत्री क्यों बनाया गया ? एक राजनैतिक विश्लेषण : - 

विनोदकुमार महाजन

( लेखांक : - २००५ वां लेख )

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महाराष्ट्र की राजनिती में तेज गती से हलचल होकर, एकनाथ शिंदे जी ने महाराष्ट्र के नवनिर्वाचित मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ग्रहण की।


और अनेक प्रश्न उपस्थित हो गये।सबसे महत्वपूर्ण प्रश्न : - देवेंद्र जी फडणवीस को इतनी कडी मेहनत और श्रेष्ठत्व तथा योग्यता होने के बावजूद भी मुख्यमंत्री पद क्यों नही मिला ?


अब सबसे पहले पिछले ठाकरे सरकार का इतिहास देखते है।

शरद पवार जी ने एक ब्राह्मण  मुख्यमंत्री ठाकरे जी को,फडणवीस जी को काट देने के लिए ,तथा कुछ महत्वकांक्षा लेकर,शिवसेना ,काँग्रेस के सहयोग से महाराष्ट्र में सत्ता स्थापन की।

ठाकरे के रूप में एक ब्राह्मण मुख्यमंत्री बनाया और एक ब्राह्मण के ( ठाकरे ) कंधेपर बंदूक रखकर दूसरे ब्राह्मण को ( फडणवीस ) समाप्त करने की रणनीती बनाई।


अब देखते है भाजपा की वरीष्ठ टीम ने क्या किया ?


जिस प्रकार से उध्दव जी ने भाजपा को धोका और धक्का देकर,पवार जी से हाथ मिलाकर सत्ता स्थापन की।


ठीक यही निती," टिट फोर टैट " के नाते बिजेपी ने अपनाई और उध्दव ठाकरे सरकार को सैंध लगाकर एकनाथ शिंदे जी सहीत अनेक विधायकों को अपनी ओर आकृष्ट किया। 


जो रणनीती ठाकरे जी ने बनाई,ठीक ऐसी ही रणनीती से ठाकरे सरकार को काटशह देने के लिए भाजपा ने बनाई।

और इस जबरदस्त रणनीती के कारण ठाकरे, पवार, राऊत के होश उड गये।


अब देखते है ...फडणवीस के जगह शिंदेजी को ही मुख्यमंत्री क्यों बनाया गया ?

जो गहरी निती पवार ने अपनाई थी वही गहरी निती भाजपा ने अपनाई।

ब्राह्मण मुख्यमंत्री बनाकर,उनके कंधे में बंदूक रखकर,मुख्यमंत्री के रेस में रहनेवाले दूसरे शक्तिशाली ब्राह्मण मुख्यमंत्री फडणवीस को शह दिया।


अब मजे की बात देखो,

यही रणनीती भाजपा की वरीष्ठ टीम ने अपनाई।और मराठा मुख्यमंत्री बनाकर पवार की मराठा वोटबैंक को हासील किया।


भविष्य में अनेक महापालिका चुनाव हो रहे है।और मराठा वोटबैंक के आधार पर बिजेपी अनेक महापालिका हस्तगत करके ही रहेगी।क्योंकी एकनाथ शिंदे मुख्यमंत्री होने के नाते,सारी वोटबैंक भाजपा और शिंदे गुट के पिछे खडी रहेगी।

इसका प्रमुख असर २०२४ के लोकसभा तथा विधानसभा चुनाव में दिखाई देगा।


मराठा वोटबैंक महाराष्ट्र में शक्तिशाली है।इसी विषय पर चर्चा करने के लिए और भविष्य का वेध लेने के लिए मैंने...

मोरे....

नाम के महाराज को आमंत्रित किया था।जब बालयोगी जी पुणे में आये थे।

मुझे यह जानना था की,भविष्य में मराठा वोटबैंक किसके पिछे खडी होगी ?और महाराष्ट्र की राजनीति किस ओर मुडेगी ?

मगर मोरे महाराज  मेरे प्रश्न से भयंकर भडक गये और चर्चा करने के बजाए मुझे ही निरूत्तरीत किया।बालयोगी जी ने भी मेरा पक्ष लेने के बजाए मोरे महाराज का पक्ष लिया, जिसका मुझे बहुत दुख हुवा।


वास्तव में मैं महाराष्ट्र की भविष्य की राजनिती का उस समय चर्चा द्वारा अंदाजा लगाने की कोशीश में था।जो मुझे मेरे लेख के लिए अपेक्षित तथा उपयुक्त था।

क्योंकी पत्रकार, लेखकों के लिए भविष्य का वेध लेकर लेखन करना यथोचित रहता है।


अब देखते है देवेंद्र फडणवीस उपमुख्यमंत्री क्यों बन गये ?


वास्तव में एकनाथ शिंदे जी का नाम जब मुख्यमंत्री पद के लिए फाईनल हो गया...तभी देवेंद्र जी ने सत्ता में न रहकर बाहर से सरकार का कार्य बढाने का निर्णय लिया।

मगर...

अगर देवेंद्र जी सत्ता के बाहर रहते तो सरकार में बिजेपी का महत्त्व कम हो जाने की आशंका थी।और सारे निर्णय एकनाथ जी के गुट में ही चले जाते।


एकनाथ जी तो साफ दिलवाले और कट्टर हिंदुत्ववादी है ही,उसमें कोई आशंका नही है।


फिर भी... सत्ता में अंकुश रखने के लिए, भाजपा की वरीष्ठ टीम ने देवेंद्र जी की इच्छा न होकर भी महाराष्ट्र का उपमुख्यमंत्री बनाया।

क्योंकी भविष्य में अनेक महत्वपूर्ण चुनाव होनेवाले है।और देवेंद्र जी अगर सत्ता से दूर रहते तो इसका काफी असर अगले चुनावों में दिखाई देता।


इसिलिए इच्छा न होकर भी केवल और केवल पक्षहितों के लिए देवेंद्र जी ने उपमुख्यमंत्री पद का स्विकार किया है।इसी निर्णय से खुद देवेंद्र जी की और भाजपा की प्रतीमा बहुत उंची हो गई है।

पक्षहितों के लिए निस्वार्थ भाव से कैसे मन का बडप्पन दिखाया जाता है,इसका देवेंद्र जी एक आदर्श उदाहरण बन गये है।

और इसका असर अगले सभी चुनावों में दिखाई देगा।और बिजेपी का मतदान का प्रतिशत भी काफी मात्रा में बढेगा।और उत्तरोत्तर बिजेपी और देवेंद्र जी की लोकप्रियता भी आसमान को छुयेयी।


चारों तरफ,दस दिशिओं में बिजेपी का कार्य वायुगती से बढ रहा है,इसका सार्थ अभिमान सभी भारतीयों को हो रहा है।


बिजेपी के माध्यम से देश का उज्वल भविष्य तथा देश का स्वर्णीम समय तय है।


इसिलिए साथीयों,

बिना हिचकिचाहट से...

वोट फाँर बिजेपी।

हमेशा कमल का फूल याद रखना।

जो आपके जीवन का अंधेरा समाप्त करके,

आपके जीवन में नई रोशनी ले आयेगा।


हर हर मोदी

घर घर मोदी

जय मोदीयोगी राज


।। जयतु हिंदुराष्ट्र ।।


हरी ओम्


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हर हर महादेव

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