नारायणी
अवतार कार्य के लिए
जगद् अंबा बनकर
जगदंबा
बनकर संपूर्ण समर्पीत होना होगा.
दिखावा नही चाहिए,,प्रपोगंडा भी नही चाहिए.
क्षमता है.
अदृष्य ईश्वरी अवतार कार्य के लिए संपूर्ण समर्पण चाहिए.
आत्मा की आवाज सुनो.
आखिर में
भगवान की इच्छा.
यही
नारायणी सेना का
मूल उद्दीष्ट है.
उत्तीष्ठ.
दिपावली लक्ष्मी पूजन दिवस,
शनिवार दि. १४/११/२०२०
राजगुरु नगर,पुणे.
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