हँसते रहिए

 *हँसते रहिए... मुस्कुराते* *रहिए....!!!*

✍️२५७१


 *विनोदकुमार महाजन* 

👍👍👍👍👍

सुखदुख तो अपना साथी है ! सुखदुख को गले लगाते रहिए !

सदा के लिए ,हँसते रहिए , मुस्कुराते रहिए !


गाना गुनगुनाते हुए , हँसी मजाक से ,बडे आनंद से ,

जीवन बिताते रहिए !

दुसरों के सुखदुख में उनका हमदर्द बनते रहिए !

खुद मस्त रहिए , दुसरों को भी मस्त जीवन जीने दिजिए !


कभी किसी का भी दिल मत दुखाईये ! पशुपक्षियों पर भीनिरंतर, निरपेक्ष , निर्वाज्य प्रेम करते रहिए !


प्रेम करनेपर भी जो नफरत करेगा , दिल दुखाएगा , हमें तडपायेगा....

उससे नाता सदा के लिए ?

तोड दिजिए !


नफरतों के बाजार में भी मस्त रहिए , स्वस्थ रहिए , खुश रहिए , हँसमुख रहिए !

हँसी खुशी से सभी का मन भी प्रसन्न किजिए !


मुसिबतों के आग में तडपते हो ? तो भी ....

हँसते खेलते रहिए !

मुसिबतें आयेगी , चली जायेगी , उसे झेलकर ,

आगे आगे बढते रहिए !


ईश्वर का भजन हमेशा गाते रहिए !

हँसी खुशी से जीवन बिताते रहिए !


सभी को रामराम बोलते रहिए !

रामनाम का जादू देखते रहिए !

हरदिन बडे हिम्मत से , बडे आनंद से , रामराज्य की ओर बढते रहिए !


जय श्रीराम !!

👍👍🙏🕉🚩

Comments

Popular posts from this blog

ऊँ कालभैरवाय नम :

मोदिजी को पत्र ( ४० )

ईश्वर